यूपी के हाथरस में भोले बाबा के सत्संग के बाद हुई भगदड़ में अब तक 122 लोगों की मौत हुई है। 4 जिलों अलीगढ़, हाथरस, एटा और आगरा में रातभर शवों का पोस्टमॉर्टम हुआ। परिजन अपनों की लाश को लेकर इधर-उधर भटकते रहे। प्रशासन ने अब तक 121 मौत की पुष्टि की है।
मंगलवार दोपहर यह हादसा उस समय हआ, जब भोले बाबा के काफिले के निकलते समय उनकी चरण धूल लेने के लिए अनुयायियों में अफरा-तफरी मच गई। भगदड़ के बीच हाईवे के सहारे के कीचड़युक्त खेत में तमाम लोग गिर गए और उनके ऊपर से भीड़ गुजर गई। हादसे के बाद मची चीख पुकार के बीच अफरा-तफरी भरे माहौल में शवों व घायलों को सिकंदराराऊ के ट्रामा सेंटर और एटा के मेडिकल कॉलेज ले जाया गया। मरने वालों में महिलाओं और बच्चों की संख्या अधिक है। मंडलायुक्त अलीगढ़ चैत्रा वी की अगुवाई में जांच समिति गठित की गई है। 24 घंटे के भीतर इसे अपनी रिपोर्ट देनी है। प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि 20 हजार लोगों के कार्यक्रम में शामिल होने की अनुमति मांगी गई थी, इसमें 50 हजार से अधिक लोग शामिल हुए। कार्यक्रम स्थल पर जगह भी समतल नहीं थी, भोले के बाबा के पैर छूने की होड़ में भगदड़ मची है। हादसा मंगलवार दोपहर करीब दो बजे हुआ। उस समय सत्संग समाप्त हो गया था और भीड़ अपने वाहनों की ओर जा रही थी। इसी दौरान सत्संग में स्वयंसेवकों भोले बाबा के वाहनों के काफिले को निकालने भीड़ रोक दिया। स्वयंसेवकों ने लाठी डंडों से भीड़ को धकियाकर रोकने और बाबा के काफिले की चरण धूल लेने की होड़ के बीच कुछ महिलाएं गिर पड़ी। इसी बीच स्वयं सेवकों ने उन्हें धकेला तो वहां भगदड़ मच गई और गिरे लोगों को पीछे से आ रहे लोग कुचलते गए। इस भगदड़ के दौरान काफी संख्या में लोग एनएच के सहारे कीचड़युक्त खेत में गिर गए और उनके ऊपर से भी भीड़ गुजरती चली गई।
एंबुलेंस से आए घायलों को ऑक्सीजन के लिए सत्संग स्थल से साथ में आए परिजन व अन्य लोग अंदर कक्षों तक लेकर पहुंचे, लेकिन यहां तत्काल उपचार नहीं मिलने के कारण कई घायलों ने दम तोड़ दिया। टॉमा सेंटर और सीएचसी पर जेनरेटर है लेकिन जब उसे चलाने की बात आई तो पता चला कि उसमें तेल ही नहीं है। देर शाम तक स्वास्थ्य विभाग व प्रशसनिक अमला जेनरेटर के लिए तेल तक इंतजाम नहीं कर सका और पूरे परिसर में अंधेरा छाया रहा। करीब दो घंटे तक चिकित्सीय स्टॉफ मौके पर नहीं पहुंच सका। आलम यह रहा कि घायलों को उपचार के लिए रेफर करना शुरू कर दिया गया।
मंगलवार देर रात हादसे में 22 लोगों के खिलाफ सिकंदराराऊ थाने के दरोगा ने FIR दर्ज कराई। इसमें मुख्य आयोजक देव प्रकाश मधुकर का नाम है। बाकी सब अज्ञात हैं। चौंकाने वाली बात है कि इसमें मुख्य आरोपी भोले बाबा उर्फ हरि नारायण साकार का नाम ही नहीं है। हादसे के बाद से बाबा अंडरग्राउंड है l पुलिस रातभर उसकी तलाश में छापेमारी करती रही। पुलिस मैनपुरी में बाबा के आश्रम में पहुंची, लेकिन वहां भी बाबा नहीं मिला। मैनपुरी में आश्रम के बाहर पुलिस तैनात है।
इधर, वकील गौरव द्विवेदी ने इलाहाबाद हाईकोर्ट में PIL दायर करके हादसे की CBI जांच की मांग की है। सीएम योगी अधिकारियों से देर रात तक हादसे की रिपोर्ट लेते रहे। आज सुबह 11 बजे हाथरस के जिला अस्पताल पहुंचेंगे।
जम्मू-कश्मीर के कुलगाम में लगातार दो दिनों से आतंकी और जवानों के बीच मुठभेड़ जारी…
गुजरात के सूरत शहर के पाल इलाके में शनिवार दोपहर छह मंजिला आवासीय इमारत ढह…
रायपुर में अंबिकापुर के रहने वाले एक लड़का और लड़की के शव अलग अलग स्थानों…
पाली संवाददाता - मोहन वैष्णव उमरेली:- स्वास्थ्य विभाग द्वारा स्वास्थ्य सेवाओं को ग्रामीण स्तर पर…
0 प्राथमिक और माध्यमिक स्कूलों के बच्चों को मिलेगी जल्द बड़ी सुविधा 0 पहले चरण…
संवाददाता विकास कुमार यादव बलरामपुर/बलरामपुर जिला मुख्यालय के नजदीक डूमरखी जंगल में बजरंग दल जिला…